☀ ~ आज का श्रीविद्या पंचांग~☀ ☀ 10 - Apr - 2022

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जय श्री कृष्ण👏🏻

संस्थापक -  प. पू. गुरूदेव आचार्यडाँ देवेन्द्र जी शास्त्री (धारियाखेडी)

मन्दसौर (म. प्र.)

09977943155



☀ ~ आज का श्रीविद्या  पंचांग~☀


☀ 10 - Apr - 2022

☀ Mandsaur, India


☀~ श्रीविद्या  पंचांग ~☀

    

🔅 तिथि  नवमी  +03:17 AM

🔅 नक्षत्र  पुष्य  पूर्ण रात्रि

🔅 करण :

           बालव  02:25 PM

           कौलव  02:25 PM

🔅 पक्ष  शुक्ल  

🔅 योग  सुकर्मा  12:02 PM

🔅 वार  रविवार  


☀ सूर्य व चन्द्र से संबंधित गणनाएँ    

🔅 सूर्योदय  06:13 AM  

🔅 चन्द्रोदय  12:48 PM  

🔅 चन्द्र राशि  कर्क  

🔅 सूर्यास्त  06:49 PM  

🔅 चन्द्रास्त  +02:45 AM  

🔅 ऋतु  वसंत  


☀ हिन्दू मास एवं वर्ष    

🔅 शक सम्वत  1944  शुभकृत

🔅 कलि सम्वत  5123  

🔅 दिन काल  12:35 PM  

       राक्षस संवत्सर

🔅 विक्रम सम्वत  2079  

🔅 मास अमांत  चैत्र  

🔅 मास पूर्णिमांत  चैत्र  


☀ शुभ और अशुभ समय    

☀ शुभ समय    

🔅 अभिजित  12:06:12 - 12:56:34

☀ अशुभ समय    

🔅 दुष्टमुहूर्त  05:08 PM - 05:58 PM

🔅 कंटक  10:25 AM - 11:15 AM

🔅 यमघण्ट  01:46 PM - 02:37 PM

🔅 राहु काल  05:14 PM - 06:49 PM

🔅 कुलिक  05:08 PM - 05:58 PM

🔅 कालवेला या अर्द्धयाम  12:06 PM - 12:56 PM

🔅 यमगण्ड  12:31 PM - 02:05 PM

🔅 गुलिक काल  03:40 PM - 05:14 PM

☀ दिशा शूल    

🔅 दिशा शूल  पश्चिम  


☀ चन्द्रबल और ताराबल    

☀ ताराबल  

🔅 अश्विनी, कृत्तिका, मृगशिरा, पुनर्वसु, पुष्य, आश्लेषा, मघा, उत्तरा फाल्गुनी, चित्रा, विशाखा, अनुराधा, ज्येष्ठा, मूल, उत्तराषाढ़ा, धनिष्ठा, पूर्वाभाद्रपद, उत्तराभाद्रपद, रेवती  

☀ चन्द्रबल  

🔅 वृषभ, कर्क, कन्या, तुला, मकर, कुम्भ  


*चैत्र नवरात्रि* 

नवरात्रि  की नवमी तिथि यानी अंतिम दिन माता दुर्गा को विभिन्न प्रकार के अनाज का भोग लगाएं ।इससे वैभव व यश मिलता है 

        *चैत्र नवरात्रि* 

सुख-समृद्धि के लिए करें मां सिद्धिदात्री की पूजा

चैत्र नवरात्रि के अंतिम दिन मां सिद्धिदात्री की पूजा की जाती है। मां सिद्धिदात्री भक्तों को हर प्रकार की सिद्धि प्रदान करती हैं। अंतिम दिन भक्तों को पूजा के समय अपना सारा ध्यान निर्वाण चक्र, जो कि हमारे कपाल के मध्य स्थित होता है, वहां लगाना चाहिए। ऐसा करने पर देवी की कृपा से इस चक्र से संबंधित शक्तियां स्वत: ही भक्त को प्राप्त हो जाती हैं। सिद्धिदात्री के आशीर्वाद के बाद श्रद्धालु के लिए कोई कार्य असंभव नहीं रह जाता और उसे सभी सुख-समृद्धि प्राप्त होती है

        *धर्मराज दशमी* 

विष्णु धर्मोत्तर ग्रंथ में बताया है कि  जिनके परिवार में ज्यादा बीमारी जल्दी-जल्दी किसी की मृत्यु हो जाती है वे लोग शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि के दिन  (दशमी तिथि के स्वामी यमराज है मृत्यु के देवता | ) यानी 11 अप्रैल 2022 सोमवार को भगवान धर्मराज यमराज का मानसिक पूजन कर और हो सके तो घी की आहुति दे |

एक दिन पहले से हवन की छोटी सी व्यवस्था कर लेना घी से आहुति डाले इससे दीर्घायु, आरोग्य और ऐश्वर्य तीनों की वृद्धि होती है विष्णु धर्मोत्तर ग्रंथ में बताया है | आहुति डालते समय ये मंत्र बोले–

 ध्यान रखे जिसके घर में तकलीफे है वो जरुर आहुति डाले और डालते समय स्वाहा बोले और जो आहुति न डाले तो वो नम: बोले | 

ॐ यमाय  नम:

ॐ धर्मराजाय  नम:

ॐ मृत्यवे नम:

ॐ अन्तकाय  नम:

ॐ कालाय  नम:

ये पाँच मंत्र बोले ज्यादा देर तक आहुति डाले तो भी अच्छा है |

    *रविपुष्यामृत योग* 

10 अप्रैल 2022 रविवार को सूर्योदय से 11 अप्रैल सूर्योदय तक रविपुष्यमृत योग है ।

‘शिव पुराण’ में पुष्य नक्षत्र को भगवान शिव की विभूति बताया गया है | पुष्य नक्षत्र के प्रभाव से अनिष्ट-से-अनिष्टकर दोष भी समाप्त और निष्फल-से हो जाते हैं, वे हमारे लिए पुष्य नक्षत्र के पूरक बनकर अनुकूल फलदायी हो जाते हैं | ‘सर्वसिद्धिकर: पुष्य: |’ इस शास्त्रवचन के अनुसार पुष्य नक्षत्र सर्वसिद्धिकर है | पुष्य नक्षत्र में किये गए श्राद्ध से पितरों को अक्षय तृप्ति होती है तथा कर्ता को धन, पुत्रादि की प्राप्ति होती है |

इस योग में किया गया जप, ध्यान, दान, पुण्य महाफलदायी होता है परंतु पुष्य में विवाह व उससे संबधित सभी मांगलिक कार्य वर्जित हैं | (शिव पुराण, विद्येश्वर संहिताः अध्याय


☀~ श्रीविद्या  पंचांग ~☀


कार्यालय

श्रीविद्यापचांग

सिद्धचक्र विहार 

मन्दसौर मध्यप्रदेश 

आप का दिन शुभ हो 

भारतमाता की जय

09977943155

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